क्या आप जानते हैं फ्लेक्स फ्यूल क्या है ?
फ्लेक्स फ्यूल वह फ्यूल होता है जिसमें एक से अधिक प्रकार का फ्यूल शामिल होता है जैसे एथेनॉल तथा पेट्रोल । एथेनॉल एक पुनर्नवीय ऊर्जा स्रोत है जो अक्सर खेती से प्राप्त किया जाता है, जैसे कि गन्ने, मक्का, या अनाज से। यह ईंधन पर्यावरण के लिए मित्र होता है क्योंकि इसकी जलन से कार्बन उत्सर्जन पेट्रोल और डीजल जैसे पारंपरिक ईंधनों के तुलना में कम होता है।
फ्लेक्स फ्यूल वाहन (Flex Fuel Vehicles – FFVs) वे वाहन होते हैं जो एक से अधिक प्रकार के ईंधन का उपयोग कर सकते हैं, जैसे पेट्रोल और एथेनॉल। ये वाहन विशेष रूप से डिज़ाइन किए जाते हैं ताकि वे पेट्रोल, एथेनॉल, या इन दोनों ईंधनों का मिश्रण उपयोग कर सकें। फ्लेक्स फ्यूल वाहनों के इंजनों के ईंधन इंजेक्शन सिस्टम को ऐसे डिज़ाइन किया जाता है जिससे वे पेट्रोल और एथेनॉल दोनों को सही तरीके से जला सकें।
फ्लेक्स फ्यूल वाहन क्यों जरूरी हैं?
फ्लेक्स फ्यूल वाहनों के उपयोग से पर्यावरण को नुकसान कम होता है और पुनर्नवीय स्रोतों का उपयोग बढ़ता है। इसके अलावा, ये वाहनें उन देशों में भी लोकप्रिय होते हैं जहां एथेनॉल उत्पादन को प्रोत्साहित किया जाता है।
फ्लेक्स फ्यूल वाहन (Flex Fuel Vehicles – FFVs) को विस्तार से समझने के लिए हमें इसके पृष्ठभूमि को समझना होगा। FFVs का मुख्य लक्ष्य ईंधन की विविधता को बढ़ाना और पर्यावरण को नुकसान कम करना होता है। ये वाहन पेट्रोल, एथेनॉल, या इन दोनों का मिश्रण इंजन तक पहुंचने के लिए तैयार किए जाते हैं।
फ्लेक्स फ्यूल वाहन एक सुस्त और पर्यावरण मित्र विकल्प होते हैं जो ईंधन की संवेदनशीलता और संवेदनशीलता में सुधार करते हैं। यह विकल्प आगे बढ़ने की दिशा में
भारत में फ्लेक्स फ्यूल से चलने वाले वाहनों की संख्या वर्तमान में भले ही ना के बराबर है लेकिन आने वाले समय में फ्लेक्स फ्यूल के वाहनो की संख्या में काफी इजाफा देखने को मिलने वाला है।
ऑटो एक्सपॉ 2023 में मारूति ने अपनी पॉपुलर कार Wagon R का फ्लेक्स फ्यूल मॉडल प्रस्तुत किया था जिसके 2025 में लॉन्च् होन की संभावना है। Top of Form